मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh ) में राघौगढ़ विधानसभा (Assembly ) सीट कांग्रेस का मजबूत किला है। बीजेपी को यहां कई बार चुनौती मिली और फिर उसने कई कोशिशें की। बीजेपी ने बहुमत हासिल करने के लिए चुनाव दर चुनाव कई प्रयोग भी किए, लेकिन कांग्रेस के किले को ढहा नहीं पाई।
BJP के लिए चुनाव जीता बड़ी चुनौती
राघौगढ़ विधानसभा सीट जब से अस्तित्व में आई तभी से कांग्रेस का गढ़ है। यहां बीजेपी के लिए चुनाव जीतना किसी चुनौती से कम नहीं है। बीजेपी के सामने सबसे बड़ी मुसीबत मजबूत उम्मीदवार है। इसलिए बीजेपी कांग्रेस के गढ़ में सेंध लगाने के लिए उम्मीदवार की तलाश में जुटी रहती है।
2018 में BJP की हुई करारी हार
राघौगढ़ में विधानसभा चुनाव 2018 के दौरान कांग्रेस के जयवर्धन सिंह 98,268 वोट पार कर विधानसभा पहुंचे थे। उन्होंने अपने प्रतिद्वंदी बीजेपी के उम्मीदवार भूपेन्द्र सिंह रघुवंशी को 46,697 वोटों के बड़े अंतर से हराया था।
विधानसभा चुनाव 2018 के अनुसार राघौगढ़ में 2,06,703 वोटर हैं। जो विधानसभा चुनाव 2023 में अपना नेता चुनेंगे। इन मतदाताओं में पुरुष मतदाता-109453 और महिला मतदाता-97249 व थर्ड जेंडर मतदाता-01 शामिल हैं।
CM Shivraj Singh Chauhan भी यहां हार चुके चुनाव
बीजेपी ने कांग्रेस का किला ढहाने के लिए 2003 में सीएम शिवराज सिंह (CM Shivraj Singh) को अपना उम्मीदवार बनाया था। लेकिन उन्हें भी करारी हार का सामना करना पढ़ा। दिग्विजय के गढ़ में अब उनके छोटे भाई पूर्व सांसद लक्ष्मण सिंह और जयवर्धन सिंह का सियासत में दबदबा है।