ग्वालियर. शहर में सायबर फ्राड लगातार बढ़ रहा है। ऐसा कोई दिन नहीं बीतता जिस दिन सायबर फ्रॉड की घटना न हो। यही वजह है, इस समय विशेष सावधानी रखने की जरूरत है। अगर आप सायबर फ्रॉड का शिकार हो भी जाएं तो तत्काल कहां जाएं, कहां शिकायत करें जिससे तत्काल जांच शुरू हो और पैसा भी वापस मिलने की संभावना बढ़ जाए।
दो लाख रुपए से कम की ठगी
अगर आपके साथ दो लाख रुपए से कम की ठगी हुई है तो सबसे पहले उस थाने में जाएं, जो आपके क्षेत्र में लगता है। अब दो लाख रुपए से कम के मामले थाना स्तर पर भी सुने जाने लगे हैं। अगर यहां स्टाफ न सुने तो सीधे एसपी कार्यालय स्थित क्राइम ब्रांच ऑफिस पहुंचे। यहां सायबर सेल की टीम बैठती है। यहां शिकायत सुनी जाएगी। आवेदन देने के बाद यदि घटना को अधिक समय नहीं बीता है तो सायबर टीम से रूपए फ्रिज कराने के लिए बोलें। टीम इसकी प्रक्रिया करेगी।
दो लाख रुपए से अधिक की ठगी
अगर दो लाख रुपए से अधिक की ठगी हुई है तो किसी भी थाने या क्राइम ब्रांच में जाने की जरूरत नहीं है। दो लाख रुपए से अधिक राशि की ठगी होने पर सीधे कंपू में आईजी ऑफिस के ठीक सामने बने राज्य सायबर सेल के ऑफिस में शिकायत कर सकते हैं। यहां राज्य सायबर सेल के एसपी से लेकर अन्य टीम बैठती है। यहां शिकायत की जा सकती है। अगर यहां सही समय पर शिकायत कर दी जाए तो रूपए लौ ट भी सकते हैं।
24 घंटे से भी कम सम य में करें शिकायत
ठगी होने के बाद तत्काल पुलिस तक जाना चाहिए। 24 घंटे के अंदर शिकायत पहुंच जाए तो रूपए वापस मिलने की संभावना बढ़ जाती है। इसलिए 24 घंटे के अंदर शिकायत जरुर करें।
पुलिस कैसे बचाती है ठगी गई रकम
क्राइम ब्रांच की सायबर टीम और राज्य सायबर पुलिस की टीम देश के सभी बैंक, पे वॉलेट कम्पनी और निजी फाइनेंस कम्पनी से एक ग्रुप के जरिए जुड़ी हुई है। जैसे ही ठगी होती है तो जिस वॉलेट या खाते में रकम ट्रांसफर हुई है। उस कम्पनी, बैंक से ग्रुप के जरिए संपर्क करते हैं। उन्हें पूरी डिटेल भेजकर पैसा फ्रिज कराते हैं। अगर खाते या वॉलेट से ठग ने रकम नहीं निकली तो वह पैसा रिफंड हो जाता है। इसमें दो से सात दिन तक का समय लगता है।
3 से 17 लाख तक बचाए
ग्वालियर में काम करने वाली टीमों ने 3 से 17 लाख रुपए तक की रकम बचाई है। एक व्यापारी के 3.20 लाख रुपए बचाए थे।